रहमतों व मगफिरतों की रात शब-ए-बरात
कमरुल खान
बिलग्राम हरदोई ।नगर व क्षेत्र के मुस्लिम समुदाय ने रात जाग कर मनायी शब ए बारात।
शबे बरात के मौके पर कब्रिस्तानों में की गई रौशनी। लोगों ने अपने मरहूमीनों को याद कर उनके लिए मगफिरत की दुआएं मांगी पूरी रात मुस्लिम समुदाय के लोगों ने कुरआन की तिलावत से लेकर नवाफिल नमाज़ो का एहतमाम किया लोगों ने इबादत के जरिए अपने अल्लाह की रजा और खुशनुदी हासिल करने की कोशिश में लगे रहे। बिलग्राम नगर के लोगों ने मस्जिदों में पहुंचकर नमाज अदा की रात भर जागकर अल्लाह से गिड़गिड़ा कर दुआ माँगी। मुल्क के लिए हिफ़्जो अमान व अमन चैन की दुआएं करते रहे।
आपको बता दें कि मुस्लिम समुदाय के लिए शब-ए-बारात की रात बहुत ही प्रमुख रात है. इस्लामिक मान्यताओं के अनुसार शब-ए-बारात में लोग अल्लाह की इबादत करते हैं और उनसे अपनी गुनाहों को माफ करने की दुआ मांगते हैं. इस रात इंसान के पूरे साल का हिसाब किताब लिखा जाता है। बिलग्राम ख्वाजा इमादुद्दीन चिश्ती रहमतुल्लाह अलैह हजरत मोहम्मद दावतुस्ससुगरा वास्ती चिश्ती सहित खानकाह सुगरविया मैदानपुरा खानकाह ए वाहिदिया सुल्हाडा के अलावा तमाम बुजुर्गों की मजार पर हाजिर होकर लोगों ने फातिहा पढी इसके अलावा क्षेत्र के मुस्लिम आबादी वाले गांव में भी शबे बरात पूरी शिद्दत के साथ मनाई गयी
लोगों ने कब्रिस्तान में कुरान पढ़ कर अपने पूर्वजों के लिए दुआ ए मगफिरत मांगी।