जिले में 15 अगस्त तक चलेगा सघन दस्त नियंत्रण पखवारा
हरदोई।जनपद में दो अगस्त से सघन दस्त नियंत्रण पखवारा चल रहा है,जो 15 अगस्त तक चलेगा।
इस अभियान के दौरान आशा और आंगनबाड़ी कार्यकर्ता समुदाय में लोगों को बच्चों की दस्त की समस्या को रोकने और दस्त प्रबंधन के बारे में जागरूक कर रही है। यह जानकारी प्रजनन एवं बाल स्वास्थ्य के नोडल अधिकारी एवं अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. सुशील कुमार ने दी |
उन्होंने बताया- बच्चा यदि सघन दस्त की जद में आ जाए तो कोई भी कोताही न बरतें क्योंकि पांच वर्ष से कम आयु के बच्चों में 10 फीसद मृत्यु दस्त के कारण होती है जो कि देश में लगभग 1.2 लाख बच्चों की दस्त के कारण मृत्यु का कारण बनती है।दस्त रोग बाल्यावस्था में मृत्यु के प्रमुख कारणों में दूसरे स्थान पर है।इसका उपचार मौखिक निर्जलीकरण घोल (ओआरएस) एवं जिंक की गोली से किया जा सकता है एवं बाल मृत्यु दर में कमी लायी जा सकती है।
डा. सुशील ने बताया- दस्त का सर्वोत्तम उपचार ओआरएस का घोल व जिंक की गोली है | दस्त लगने पर पास के स्वास्थ्य केंद्र से जाकर ओआरएस के घोल का पैकेट लाकर बच्चे को पिलायें और जिंक की गोली दें। यह सभी स्वास्थ्य केन्द्रों पर निःशुल्क उपलब्ध है। ओआरएस के पैकेट को एक लीटर साफ़ पानी में घोलकर बनाना चाहिए। पानी को पहले उबाल लें। दस्त शुरू होते ही और हर दस्त के बाद ओआरएस दें। जिंक गोली एक चम्मच पानी या माँ के दूध के साथ 14 दिनों तक दें। इस बात का विशेष ध्यान दें कि दस्त के दौरान माँ का दूध और भोजन देना जारी रखें।खाना बनाने व खाने से पहले और शौच के बाद हाथों को साबुन से जरूर धुलें।
नोडल अधिकारी ने बताया,दो माह से कम आयु के बच्चे को पांच चम्मच ओआरएस का घोल हर दस्त के बाद,दो माह से दो साल तक के बच्चे को एक चौथाई से आधा कप ओआरएस प्रत्यक दस्त के बाद और 2 से पांच साल तक के बच्चे को आधा कप से एक कप ओआरएस हर दस्त के बाद दें,इसके साथ दो माह से कम आयु के बच्चे को जिंक की आधी गोली (10 मिग्रा) साफ़ पानी या माँ के दूध में घोल कर दें , 6 माह से पांच वर्ष तक के बच्चे को एक गोली (20 मिग्रा) साफ पानी या माँ के दूध में घोलकर दें,इसके अलावा साफ सफाई का विशेष ध्यान दें।